ये हे 80 वर्षीय धनी राम जो की उत्तराखंड के रहने वाले हैं धनी राम ने उत्तराखंड की पुरानी मशहूर हस्तशिल्प कला को बचाए रखा है, आप भी उनके द्वारा बनाई गई हस्तशिल्प कला को देखिए, सबसे अच्छी बात ये हे की अब उनके परिवार की अगली पीढ़ी ने इस ...
सुप्रसिद्ध अभिनेता वरुण बडोला के ये शब्द हम सबको गौरान्वित करने वाले हैं। अपने गढ़वाल का दुर्भाग्य यह रहा है कि यहाँ की खान से निकलने वाले हीरे जब अंतर्राष्ट्रीय स्तर की छवि बनाते हैं, तब उनके मुंह से ये सुनने को कान बेताब रहते हैं कि वे कभी तो ...
सौड़ गांव उत्तराखंड के टिहरी जिले में कौड़िया रेंज, जाड़ीपानी के निकट, कनाताल के पास स्थित है। यह अपनी मनमोहक प्राकृतिक सुंदरता और शांत वातावरण के लिए प्रसिद्ध है। पहाड़ों से घिरा यह गांव प्रकृति प्रेमियों के लिए एक आदर्श स्थान है, जहाँ शांति और सुकून मिलता है। ...
पोस्टर भले ही काल्पनिक है, और नैनीताल का है। जिसमें 2040 में झील सूख गई है। जिससे गाड़ियों को पार्क करने को और अधिक जगह हो गई है। और झील को आप वर्चुअली अर्थात आभासी तौर पर एंजॉय कर सकते हैं। मौसम की मार से बचने को एयर कंडीशन कमरे ...
देश को बिजली और पानी देने वाली टिहरी बांध की इस झील के लिए टिहरी के लोगों ने बड़ा योगदान दिया है। इस झील में न केवल ऐतिहासिक शहर टिहरी समाया है, बल्कि 35 ज्यादा गांव भी जलमग्न हुए हैं, उनके रीति रीवाज और संस्कृति भी झील में डूबी है। ...
उत्तराखंड की 6 पारंपरिक पहाड़ी मिट्टी/धातु कला : एक सांस्कृतिक धरोहर उत्तराखंड की सांस्कृतिक विरासत में पारंपरिक पॉटरी (मिट्टी से बनी वस्तुएं) का विशेष महत्व है। पर्वतीय जीवनशैली में सदियों से ये मिट्टी की कलाकृतियाँ उपयोग में लाई जाती रही हैं, जो न केवल दैनिक जीवन के कार्यों में सहायक ...
ये हे 80 वर्षीय धनी राम जो की उत्तराखंड के रहने वाले हैं धनी राम ने उत्तराखंड की पुरानी मशहूर हस्तशिल्प कला को बचाए रखा है, आप भी उनके द्वारा बनाई गई हस्तशिल्प कला को देखिए, सबसे अच्छी बात ये ...
सुप्रसिद्ध अभिनेता वरुण बडोला के ये शब्द हम सबको गौरान्वित करने वाले हैं। अपने गढ़वाल का दुर्भाग्य यह रहा है कि यहाँ की खान से निकलने वाले हीरे जब अंतर्राष्ट्रीय स्तर की छवि बनाते हैं, तब उनके मुंह से ये ...
उत्तराखंड की 6 पारंपरिक पहाड़ी मिट्टी/धातु कला : एक सांस्कृतिक धरोहर उत्तराखंड की सांस्कृतिक विरासत में पारंपरिक पॉटरी (मिट्टी से बनी वस्तुएं) का विशेष महत्व है। पर्वतीय जीवनशैली में सदियों से ये मिट्टी की कलाकृतियाँ उपयोग में लाई जाती रही ...
काफल पर एक लघु कहानी... एक गांव में एक विधवा औरत और उसकी 6-7 साल की बेटी रहते थे। किसी प्रकार गरीबी में वो दोनों अपना गुजर बसर करते थे। एक बार माँ सुबह सवेरे घास के लिए गयी और ...
भड्डू- कांसे आदि धातुओं को मिलाकर बनने मोटा और वजनी बर्तन। जिसमें बनी दाल बहुत ही स्वादिष्ट होती है। ब्यौ बारात, शुभ कारज में आपने जरूर खायी होगी। आपके यहाँ इस बर्तन को क्या कहते है? ...
उत्तराखंड में मूलतः के बागेश्वर तहसील के अन्तर्गत मल्ली व तल्ली खरे के बीस गाँवों में परम्परागत तांबे के बर्तन बनाते हैं। सर्वेक्षणों के अनुसार पिथौरागढ़ जनपद के गंगोलीहाट, थल, बेरीनाग आदि में ९४ परिवार पूरी तरह तांबे के बर्तन ...
सौड़ गांव उत्तराखंड के टिहरी जिले में कौड़िया रेंज, जाड़ीपानी के निकट, कनाताल के पास स्थित है। यह अपनी मनमोहक प्राकृतिक सुंदरता और शांत वातावरण के लिए प्रसिद्ध है। पहाड़ों से घिरा यह गांव प्रकृति प्रेमियों के लिए एक आदर्श ...
उत्तराखंड के कुमाऊँ हिमालय में बसे खाती गाँव तक अब सड़क बन चुकी है, जिससे यात्री अब गाड़ी से सीधे यहाँ पहुँच सकते हैं। यह गाँव पिंडारी ग्लेशियर और सुंदरढुंगा ट्रेक का आखिरी मोटर मार्ग वाला पड़ाव है, यहीं से ...
वो शहर से नजदीक है पर दूरियां बहोत है, गाँव के लोग खुश है मगर मजबूरियां बहोत है।🥰🙏 ग्राम पोखरी पौड़ी गढ़वाल उत्तराखंड। Pokhari Village Pauri Garhwal Uttarakhand ...
दोस्तों ये है देवेन्द्र प्रसाद, उत्तराखण्ड राज्य के पौड़ी जिला अंर्तगत, ब्लॉक यमकेश्वर के ग्राम उमड़ा, डांग के निवासी है। पित्रों की भूमि को नहीं छोड़ पाए देवेन्द्र। ये हैं, तो जिंदा है गांव आज भी। देवेन्द्र प्रसाद जैसे ही सैकड़ों किसानों की बदौलत उत्तराखण्ड के गांव जीवित हैं। जो ...
पड़ागली भिलंगना ब्लॉक टिहरी।। जहाँ सीधे-सादे लोगो का है डेरा.. खुशहाली से भरा वो गाँव है मेरा “ ” खींच लाता है गांव में बड़े बूढ़ों का आशीर्वाद.. बेडु, काफल के साथ कोदे की रोटी का स्वाद “ ...
हम तुम्ही है जो खेती छोड़ रहे हैं वरना विपिन पंवार जैसे लोग सोना उगाने की ओर अग्रसर हैं। विपिन पंवार जी प्रतापनगर, टिहरी गढ़वाल में अपनी पुश्तैनी जमीन में कीवी के पेड़ लगाए है, जिसके शानदार परिणाम आपके सामने ...
डोबरा चांठी पुल टिहरी गढ़वाल उत्तराखंड🙏 उत्तराखंड में एक ही पुल है यह इस तरह का, जिस पर लोग दूर-दूर से आकर फोटो खिंचवाते हैं और रात को इसमें रंग बिरंगी लाइट जलती है। ...
जब सोमनाथ के मंदिर को विध्वंस करने के लिए मोहम्मद गजनवी सोमनाथ पहुंचा तो वहां के राजगुरु आचार्य ब्रह्मभट्ट ने राजा से कहा कि एक राजा विष्णु का अवतार होता है और मैं इस ज्योतिर्लिंग शिवलिंग की ज्योति आपके शरीर में प्रत्यारोपित करता हूँ। उसके पश्चात आचार्य ने राजा को ...
समुद्र मंथन से प्राप्त चौदह रत्नों का रहस्य। एक बार दुर्वासा ऋषि ने अपना अपमान होने के कारण देवराज इन्द्र को ‘श्री (लक्ष्मी) से हीन हो जाने का शाप दे दिया। भगवान विष्णु ने इंद्र को शाप मुक्ति के लिए असुरों के साथ 'समुद्र मंथन' के लिए कहा और दैत्यों ...
अवतार के विषय में कहा गया है - अवतरति इति अवतारः। अर्थात् जो अवतरण करे अर्थ है कि जो ऊपर (दिव्य लोक) से नीचे (पृथ्वी लोक) पर आये, वही अवतार है। पुराणों में अवतारों के प्रकारों के विषय में भी विस्तृत वर्णन दिया गया है। पुरुष अवतार: जब ईश्वर मनुष्य ...
पंचकेदार में द्धितीय स्थान में मध्यमहेश्वर को माना गया है। मध्यमहेश्वर में भगवान शिव की नाभी की पूजा की जाती है। मध्यमहेश्वर उत्तराखण्ड के गढ़वाल क्षेत्र के रुद्रप्रयाग जिले में समुद्रतल से 3289 मीटर की ऊंचाई पर स्थित है। चारों और हिमालय पहाड़ो से घिरे इस रमणीय स्थान की खूबसूरती ...
अभी बरसात के दिनों में ,आपकी तुलसी के आस पास बहुत सारे पौधे निकल गए होंगे ,या किसी से मिल जाएंगे क्योंकि इन्ही दिनों ,तुलसी की जर्मीनेशन होती है,अत्यधिक तो अपने घर,बगिया में लगाइए तुलसी जी तुलसी का पौधा लगाने के लिए, इन बातों का ध्यान रखें: गमले का आकार ...
शिव जी का त्रिशूल (Trishul of Lord Shiva) भगवान शिव का ध्यान करने मात्र से मन में जो एक छवि उभरती है वो एक वैरागी पुरुष की। इनके एक हाथ में त्रिशूल, दू सरे हाथ में डमरु, गले में सर्प माला, सिर पर त्रिपुंड चंदन लगा हुआ है। माथे पर ...
उत्तराखण्ड युवा मंच द्वारा भाई मदन तिवारी जी के पिता स्वर्गीय श्री ओम प्रकाश तिवारी जी की याद मे रखे इस ऐतिहासिक क्रिकेट टूर्नामेंट में 19 टीमों ने भाग लिया जिसमे से उत्तराखण्ड जन चेतना मंच की टीम बेहतरीन प्रदर्शन ...
क्रिकेट और पहाड़। मुनस्यारी उत्तराखंड का एक खूबसूरत ग्राउंड चारों तरफ पहाड़ों से घिरा हुआ। Cricket and mountains. A beautiful ground in Munsiyari, Uttarakhand, surrounded by mountains on all sides ...
गोल्डन गर्ल अंतराष्ट्रीय फलक पर भारत का नाम रोशन करने वाली पहाड़ की बेटी मानसी नेगी होंगी 22 दिसंबर 2024 को यूथ आइकॉन Yi नेशनल अवार्ड 2024 से सम्मानित। इसी दिन यूथ आइकॉन के राष्ट्रीय मंच पर महाराष्ट्र, हरियाणा, हिमांचल, ...
बधाई: उत्तराखंड की अधिकता रौतेला अरुणाचल प्रदेश t20 क्रिकेट टीम में चयनित हो गई है। जिन्होंने अपने पिता को खोया लेकिन नहीं खोया होंसला और पा लिया बड़ा मुकाम।। बता दें मूल रूप से बागेश्वर जिले के कांडा मैठरा गांव ...
हल्द्वानी के क्रिकेटर आदित्य रावत का ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ आगामी मैचों के लिये अण्डर-19 भारतीय टीम में चयन होने पर उनको और उनके परिवार को बहुत बहुत बधाई। ...
उत्तराखंड के चमोली जिले के छोटे से गांव आली मज्याडी से निकले दिगंबर सिंह रावत ने आज अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपना परचम लहराया है। उनके इस उपलब्धि पर जनपदवासी खुद को गौरवान्वित महसूस कर रहे हैं उन्होंने साबित कर दिया ...
रोहतांग दर्रा वर्तमान में पर्यटकों के लिए खुला है और 17 मई, 2025 से खुला है। यात्रा करने के लिए परमिट की आवश्यकता होती है, और प्रतिदिन 1,200 परमिट जारी किए जाते हैं, जिसमें पेट्रोल वाहनों के लिए 800 और ...
पांगी घाटी - हिमाचल पांगी घाटी सबसे सुरम्य और अद्वितीय पर्यटन स्थलों में से एक है। यह जगह अभी भी अपनी दूरी और बीहड़ इलाके के कारण अनौंला है, जो इसे पारंपरिक पर्यटन मानचित्र से काट देता है। यह वह ...
सैंज वाली, हिमाचल प्रदेश का एक अद्वितीय गांव है, जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता के लिए प्रसिद्ध है। यहां के दृश्य जैसे हरी-भरी घाटियाँ, बर्फीली पहाड़ियाँ और रंग-बिरंगे फूल, हर किसी को मंत्रमुग्ध कर देते हैं। यह जगह शहरों की भागदौड़ ...
लगभग एक ही ढर्रे पर चल रहे गीतों से बोर हो चुके पहाड़ियों को कुछ अलग सुनाने की कोशिश करने वाली प्रियंका महर की अब तक की यात्रा बड़ी कमाल की रही है। सोशल मीडिया की बढ़ती पहुंच के बीच ...
अंतरराष्ट्रीय फिल्म फेस्टिवल के लिए चुनी गई उत्तराखंड के विनोद कापड़ी की पायर, पहली बार फ्लाइट में बैठ प्रिमियर के लिए पहुंचे आमा-बुबू उत्तराखंड से जुड़ी एक खबर सामने आ रही है। राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कार विजेता विनोद कापड़ी (Vinod Kapadi) ...
आपके जीवन में संगीत की मधुरता और सफलता की धुन बनी रहे। आपकी आवाज़ उत्तराखंड की संस्कृति और परंपराओं को नई पीढ़ी तक पहुंचाती रहे। आपके सपने पूरे हों और आपकी आवाज़ दुनिया भर में गूंजती रहे। आपकी प्रतिभा और ...
पैंसठ पार की हीरा देवी विनोद कापड़ी की नई फिल्म ‘पायर’ की हीरोइन हैं. उत्तराखण्ड के सुदूर कस्बे बेरीनाग से कोई दस किलोमीटर दूर एक छोटे से गाँव गढ़तिर की रहने वाली हीरा देवी ने फिल्म के लिए चुने जाने ...
तो दोस्तों सुरी साजवाण उत्तराखंड के टिहरी जिले गांव खांकर के मूल निवासी है और वर्तमान समय में न्यूजीलैंड में कार्यरत, हाली मै सुरी साजवाण ने चिमशी बांन्द गाना रिलीज़ किया जिसकी वीडियो विदेशियों ने यानि भारत से बाहर के ...
उत्तराखण्ड संगीता ढौंढियाल, आज उत्तराखंड की चर्चित गायिका हैं, गायन के साथ ही संगीता जी की रूचि नृत्य एवं रंगमंच में भी है। वर्त्तमान में संगीता ढौंढियाल देहरादून में निवास करती हैं लेकिन इनकी जड़ें पौड़ी गढ़वाल से आज भी ...
1868: गंगोत्री के एक ग्रामीण की सबसे पुरानी तस्वीरों में से एक। यह तस्वीर 1868 में प्रकाशित 'पीपुल्स ऑफ इंडिया' पुस्तक में छपी थी। ग्रामीण का नाम तो नहीं बताया गया है, लेकिन पाठ में बताया गया है कि व्यक्ति ...
लोक गायक पप्पू कार्की की गायकी का सफर थल रामलीला से शुरू हुआ। वर्ष 1995 में जूनियर की शिक्षा के दौरान उन्होंने एक कार्यक्रम में अपनी आवाज का जादू बिखेरा था। रामलीला में एक कार्यक्रम में गायकी के दौरान सीनियर ...
श्रीनगर (गढ़वाल) का इतिहास, जो कभी एक जीवंत राजधानी और राजाओं का निवास स्थान / राजधानी थी, प्राकृतिक आपदाओं और राजनीतिक उथल-पुथल से चिह्नित गिरावट की कहानी को दर्शाता है। 1882 में प्रकाशित हिमालयन गजेटियर (खंड III, भाग II) में ...
ऋग्वेद में आर्यों का निवासस्थल "सप्तसिंधु" प्रदेश के नाम से अभिहित किया जाता है। ऋग्वेद के नदीसूक्त (10/75) में आर्यनिवास में प्रवाहित होनेवाली नदियों का एकत्र वर्णन है जिसमें मुख्य ये हैं - कुभा (काबुल नदी), क्रुगु (कुर्रम), गोमती (गोमल), ...
उत्तराखंड के श्रीनगर गढ़वाल से 17 किमी दूर पहाड़ी पर बसा देवलगढ़, ऐतिहासिक रूप से महत्वपूर्ण है, खासकर 16वीं शताब्दी की शुरुआत में गढ़वाल साम्राज्य की पूर्व राजधानी के रूप में। राजा अजय पाल द्वारा 1512 में चांदपुर गढ़ी से ...
विधानसभा भराड़ीसैंण लगभग 8000 फीट की ऊंचाई पर स्थित है, जो वाकई एक रत्न है। इस क्षेत्र की प्राकृतिक सुंदरता यहां आने वाले पर्यटकों का स्वागत करने वाले सुहावने मौसम से और भी बढ़ जाती है। बर्फ की चादर से ...
पहले पेड़ बचाने के लिए जवानी खपाई, अब बीज बचाने के लिए खुद को समर्पित कर दिया। टिहरी गढ़वाल के विजय जड़धारी एक चलते फिरते संस्थान हैं। पारंपरिक फसलों को लेकर उनका ज्ञान, बीजों के संरक्षण को लेकर वैज्ञानिक दृष्टिकोण ...
पौड़ी जिले के सीमांत ब्लॉक बीरोंखाल के राजकीय इंटर कालेज बैजरो में प्रवक्ता रसायन विज्ञान के पद पर सेवारत श्री दीनदयाल बिष्ट जी ने बागवानी में अपनी कार्यकुशलता और दूरदर्शी सोच से एक मिशाल कायम की है, जहां एक ओर ...
चमोली जिले के गैरसैंण ब्लॉक मालई के आर्मी रिटायर्ड श्री विनोद रावत जी ने बागवानी में अपनी कार्यकुशलता और दूरदर्शी सोच से एक मिशाल कायम की है, जहां एक ओर लोग पहाड़ी क्षेत्रों से मैदानी क्षेत्रों की ओर लगातार पलायन ...
स्वरोजगार: पौड़ी जिले के सीमांत ब्लॉक बीरोंखाल के राजकीय इंटर कालेज बैजरो में प्रवक्ता रसायन विज्ञान के पद पर कार्यरत श्री दीनदयाल बिष्ट जी ने बागवानी में अपनी कार्यकुशलता और कड़ी मेहनत से एक बड़ी मिशाल कायम की है। श्री ...
गांव में आजकल बैलों की कोई जरूरत नहीं है छोटे ट्रैक्टर टिलर से काम चल रहा है और बहुत अच्छा चल रहा है जो लोग खेती कर रहे हैं और मेहनत से फसलें उगा रहे हैं वो अच्छा अनाज खाते ...
सत +पुतिया जैसा की नाम से ही पता चलता है कि सत अर्थात सात पुतिया शब्द पुत मतलब पुत्र से लिया गया है। पुराने किस्से कहानी में अक्सर राजा, बनिया इत्यादि के सात पुत्र का वर्णन मिलता है। जैसा की ...
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